मां नर्मदा जी के तट पर कलयुग की दूसरी मीराबाई के साथ आंवले की कढ़ी की भोजन प्रसादी ।
मां नर्मदा जी के तट पर कलयुग की दूसरी मीराबाई के साथ आंवले की कढ़ी की भोजन प्रसादी ।
माँ नर्मदा की तट पर स्थित सिद्ध साधु संत की दैनिक दिनचर्या उनकी भोजन प्रसादी यहाँ पर स्थित मंदिर सिद्ध घाट पवित्र स्थल नर्मदा दर्शन के माध्यम दिखाते हैं यह एक ऐसी धर्म की यात्रा हैं जहाँ पर साधु संतों व माँ नर्मदा के दर्शन कराने की कोशिश है माँ नर्मदा स्वयं राज राजेश्वरी है इसलिए सभी की मनोकामना पूरी करती हैं मां नर्मदा जी के तट पर सुमित्रा माताजी को कलयुग की दूसरी मीराबाई कहा जाता है 9 साल की उम्र में ही वे संत बन गई थीं
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